भजले नाम प्रभु का भजले,
धरले प्रभु मूरत मन धरले।।
यह संसार रैन का सपना,
यह संसार रैन का सपना,
इससे मोह तू तज दे,
भजले नाम प्रभु का भजले,
धरले प्रभु मूरत मन धरले।।
काम क्रोध मद मोह भूलाकर,
प्रेम दया अपना ले,
विषय भोग से वैरागी बन,
सतगुरु सुमिरन कर ले,
भज ले नाम प्रभु का भजले,
धरले प्रभु मूरत मन धरले।।
माया झूठ कपट छल छोड़,
निश्छल मन को करले,
ओस बून्द सा सारा जीवन,
आत्म चिंतन कर ले,
भज ले नाम प्रभु का भजले,
धरले प्रभु मूरत मन धरले।।